चतरा: तीन महीने से 108 एंबुलेंस सेवा बंद, ग्रामीण परेशान
Chatra: सात साल पहले जब 108 एंबुलेंस सेवा शुरू की गई थी तो ग्रामीण इलाकों में लोग काफी खुश थे. जहां मरीजों को पहले जिला अस्पताल जाने के लिए सोचना पड़ता था, वहीं एंबुलेंस होने से जल्द ही पहुंचने लगे थे. यह सेवा फ्री थी. वहीं अब बंद हो गई है. दरअसल प्रतापपुर एवं कुंदा […]

Chatra: सात साल पहले जब 108 एंबुलेंस सेवा शुरू की गई थी तो ग्रामीण इलाकों में लोग काफी खुश थे. जहां मरीजों को पहले जिला अस्पताल जाने के लिए सोचना पड़ता था, वहीं एंबुलेंस होने से जल्द ही पहुंचने लगे थे. यह सेवा फ्री थी. वहीं अब बंद हो गई है. दरअसल प्रतापपुर एवं कुंदा प्रखंड में पिछले तीन माह महीना से 108 एंबुलेंस सेवा बंद हो गई है. दोनों प्रखंड के लिए एक-एक एंबुलेंस थी. लेकिन तकनीकी खराबी होने से यह सेवा बंद है. इससे ग्रामीण परेशान हैं.
बता दें कि तत्कालीन भारतीय जनता पार्टी के सरकार द्वारा पूरे प्रदेश में नि:शुल्क 108 एम्बुलेंस सेवा चालू किया गया था जो आज तक यह बहाल है. यही एंबुलेंस सेवा कोरोना काल में काफी मददगार साबित हुई थी. इससे काफी लोगों की जान बची थी. लेकिन वही स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही और उदासीनता के कारण कई प्रखंडों में 108 एम्बुलेंस सेवा बंद हो गयी है. मिली जानकारी अनुसार पूरे जिले में डेढ़ दर्जन 108 एम्बुलेंस सेवा बहाल थी, लेकिन अब आधे दर्जन ही बचे हैं.
एंबुलेंस चालकों का कहना है कि सिविल सर्जन के उदासीन रवैया के कारण न तो ऐम्बुलेंस चल रहा है और ना ही ऐम्बुलेंस चालकों को तीन महीने से वेतन भुगतान किया जा रहा है. जिसके कारण हम सभी 108 एंबुलेंस सेवा चालकों के सामने भूखमरी की स्थिति उत्पन्न हो गई है. दूसरी तरफ कुंदा एवं प्रतापपुर में 108 एंबुलेंस सेवा बंद होने से मरीजों को अधिक पैसे देकर निजी ऐम्बुलेंस से जाना पड़ता है.
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