जम्मू-कश्मीर : उपराज्यपाल ने अमरनाथ यात्रा पर जाने वाले तीर्थयात्रियों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया

  NewDelhi : जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने आज शुक्रवार को अमरनाथ यात्रा पर जाने वाले तीर्थयात्रियों के पहले जत्थे को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया. इस साल पवित्र अमरनाथ गुफा की यात्रा 52 दिन तक चलेगी. बता दें कि  4,603 तीर्थयात्रियों का जत्था भजन-कीर्तन करते हुए दो सुरक्षा काफिलों में भगवती नगर यात्री […]

Jun 29, 2024 - 05:30
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जम्मू-कश्मीर : उपराज्यपाल ने अमरनाथ यात्रा पर जाने वाले तीर्थयात्रियों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया
जम्मू-कश्मीर : उपराज्यपाल ने अमरनाथ यात्रा पर जाने वाले तीर्थयात्रियों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया
  NewDelhi : जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने आज शुक्रवार को अमरनाथ यात्रा पर जाने वाले तीर्थयात्रियों के पहले जत्थे को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया. इस साल पवित्र अमरनाथ गुफा की यात्रा 52 दिन तक चलेगी. बता दें कि  4,603 तीर्थयात्रियों का जत्था भजन-कीर्तन करते हुए दो सुरक्षा काफिलों में भगवती नगर यात्री निवास से रवाना हुआ.  उपराज्यपाल के साथ पुलिस महानिदेशक आरआर स्वैन सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी इस मौके पर मौजूद थे.                  नेशनल खबरों के लिए यहां क्लिक करें 

  VIDEO | Jammu and Kashmir Lieutenant General Manoj Sinha (@manojsinha_) leaves after visiting Yatri Niwas Bhagwati Nagar base camp to take stock of the arrangements for Amarnath Yatra.


जानकारी के अनुसार 1,933 तीर्थयात्री उत्तरी कश्मीर बालटाल मार्ग से,  2,670 तीर्थयात्री दक्षिण कश्मीर नुनवान (पहलगाम) आधार शिविर होकर जा रहे हैं.  तीर्थयात्रियों में 3,631 पुरुष, 711 महिलाएं, नौ बच्चे, 237 साधु और 15 साध्वियां शामिल हैं.

पहला सुरक्षा काफिला सुबह 5.45 बजे बालटाल आधार शिविर के लिए रवाना हुआ

पहला सुरक्षा काफिला सुबह 5.45 बजे बालटाल आधार शिविर के लिए रवाना हुआ. दूसरे काफिले की बात करें तो वह सुबह 6.20 बजे नुनवान (पहलगाम) आधार शिविर के लिए रवाना किया गया. यह जानना जरूरी है कि तीर्थयात्री दो रास्ते से, 48 किलोमीटर लंबे पारंपरिक पहलगाम मार्ग से या फिर 14 किलोमीटर लंबे बालटाल मार्ग से पवित्र गुफा पहुंचते हैं. दोनों मार्गों पर तीर्थयात्रियों के लिए हेलीकॉप्टर सेवाएं भी उपलब्ध कराई गयी है.   पहलगाम मार्ग से जाने वालों को गुफा मंदिर तक पहुंचने में चार दिन लगते हैं. बालटाल मार्ग से जाने वाले तीर्थयात्री उसी दिन पूजा कर वापस लौट सकते हैं. इस साल 52 दिवसीय तीर्थयात्रा 19 अगस्त को सावन की पूर्णिमा के दिन रक्षाबंधन पर समाप्त होगी.

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