पीएम मोदी ने मिशन मौसम का शुभारंभ किया, स्मारक सिक्का जारी किया, प्रदर्शनी देखी
NewDelhi : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज मंगलवार को दिल्ली के भारत मंडपम में भारत मौसम विज्ञान विभाग के 150वें स्थापना दिवस समारोह में मिशन मौसम का शुभारंभ किया. साथ ही प्रदर्शनी देखी. समारोह में केंद्रीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी और पृथ्वी विज्ञान राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डॉ. जितेन्द्र सिंह के अलावा विश्व मौसम विज्ञान संगठन के […]
NewDelhi : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज मंगलवार को दिल्ली के भारत मंडपम में भारत मौसम विज्ञान विभाग के 150वें स्थापना दिवस समारोह में मिशन मौसम का शुभारंभ किया. साथ ही प्रदर्शनी देखी. समारोह में केंद्रीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी और पृथ्वी विज्ञान राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डॉ. जितेन्द्र सिंह के अलावा विश्व मौसम विज्ञान संगठन के महासचिव सेलेस्टे साउलो भी शामिल हुए.
#WATCH | Delhi: On the 150th Foundation Day of India Meteorological Department, Prime Minister Narendra Modi says “Yesterday I was in Sonamarg, initially that program was planned early but after getting all the information from the IMD, it was found that the time was not suitable… pic.twitter.com/w2gPEAaozo
— ANI (@ANI) January 14, 2025
#WATCH | Delhi: On the 150th Foundation Day of India Meteorological Department, Prime Minister Narendra Modi says “…Even warnings like lightning strikes have become possible for people to receive on their mobile phones. Earlier, when lakhs of fishermen used to go to sea, their… pic.twitter.com/KVXbe9UjMa
— ANI (@ANI) January 14, 2025
मिशन मौसम से आपदा प्रबंधन क्षमता का निर्माण हुआ
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, कल मैं सोनमर्ग में था, पहले तो कार्यक्रम पहले से तय था, लेकिन आईएमडी से सारी जानकारी लेने के बाद पता चला कि यह समय मेरे लिए उपयुक्त नहीं है. तब मौसम विभाग ने मुझे बताया कि 13 जनवरी ठीक है, तापमान -6 डिग्री सेल्सियस था, लेकिन जब तक मैं वहां था, एक भी बादल नहीं था. , मैं समय पर कार्यक्रम पूरा करके वापस आ गया. इससे हमारी आपदा प्रबंधन क्षमता का निर्माण हुआ है. आज हमारा फ्लैश फ्लड गाइडेंस सिस्टम नेपाल, भूटान, बांग्लादेश और श्रीलंका को भी जानकारी दे रहा है.
आज बिजली गिरने जैसी चेतावनी भी मोबाइल फोन पर मिल रही है
श्री मोदी ने कहा आज बिजली गिरने जैसी चेतावनी भी लोगों को अपने मोबाइल फोन पर मिल रही है. पहले जब लाखों मछुआरे समुद्र में जाते थे, तो उनके परिवार वाले हमेशा चिंतित रहते थे. किसी अनहोनी की आशंका बनी रहती थी, लेकिन अब IMD की मदद से मछुआरों को भी समय पर चेतावनी मिल जाती है.
ये रियल-टाइम अपडेट न केवल लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित कर रहे हैं, बल्कि कृषि और ब्लू इकॉनमी जैसे क्षेत्रों को भी मजबूती मिल रही है. किसी भी देश की आपदा प्रबंधन क्षमता के लिए मौसम विज्ञान सबसे महत्वपूर्ण सहारा होता है. प्राकृतिक आपदाओं के प्रभाव को कम करने के लिए, हमें मौसम विज्ञान की दक्षता को अधिकतम करने की आवश्यकता है.
10 वर्षों में मौसम पूर्वानुमान की सटीकता में 50 की वृद्धि हुई है
इस अवसर पर जितेंद्र सिंह ने कहा कि पिछले 10 वर्षों में मौसम पूर्वानुमान की सटीकता में 50 फीसदी की वृद्धि हुई है.आज हमारे स्थापित संयंत्र केवल आईएमडी केंद्रों तक ही सीमित नहीं हैं, बल्कि अंतरिक्ष, जमीन और समुद्र तक उनका विस्तार है. मिशन मौसम का उद्देश्य विश्व स्तर की सुविधाएं प्रदान करना है और मौसम के लिए तैयार भारत बनाना है. कहा कि भारत मौसम की प्रत्याशित और अप्रत्याशित चुनौतियों से मुकाबला को तैयार है. श्री सिंह ने कहा कि पीएम मोदी के नेतृत्व में अब मंत्र यह नहीं है कि कल मौसम कैसा रहेगा, बल्कि यह है कि मौसम कल क्या करेगा.
मजबूत नीति ढांचा और संस्थागत तंत्र विकसित हुआ
मौसम विज्ञान के महानिदेशक डॉ. मृत्युंजय महापात्र ने कहा कि भारत मौसम विज्ञान विभाग, पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय और व्यक्तिगत रूप से मैं आईएमडी के 150वें स्थापना दिवस के अवसर पर प्रधानमंत्री मोदी का गर्मजोशी से स्वागत करते हुए सम्मानित महसूस कर रहा हूं. इस महत्वपूर्ण अवसर पर आपकी उपस्थिति और समर्थन के लिए हम आपके बहुत आभारी हैं. आपके दूरदर्शी नेतृत्व में भारत ने प्रारंभिक चेतावनी प्रणालियों सहित एक मजबूत नीति ढांचा और संस्थागत तंत्र विकसित किया है, जिसने आपदा जोखिम को कम करने में महत्वपूर्ण योगदान दिया है.
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